एम्स -की तरह आइजीएमएस में भी भर्ती रोगियों को 30 से 90 प्रतिशत तक सस्ती दवाएं व सर्जिकल उपकरण मिलेंगी। संस्थान प्रबंधन ने सेंट्रल फार्मेसी को सीधे कंपनी से रेट कांट्रैक्ट कर आवश्यक दवाएं, सर्जिकल सामान व अन्य उपयोगी चिकित्सा सामग्री खरीदने को निर्देश दिया है। जनवरी या फरवरी से रोगियों को बाजार से बहुत सस्ते में दवाएं व सर्जिकल सामान मिलने लगेंगे। चिकित्साधीक्षक डा. मनीष मंडल ने बताया कि उपचार खर्च कम करने के लिए संस्थान कई विकल्पों पर विचार कर रहा है। सीधे कंपनी से खरीदारी कर रोगियों को सस्ती दवाएं व सर्जिकल सामग्री उपलब्ध कराना इसकी शुरुआत है।
कैंसर-हृदय रोगियों को सबसे अधिक राहत नेशनल फार्मास्युटिकल प्राइस अथारिटी (एनपीपीए) ने कैंसर, मधुमेह, हृदय रोगों की बहुत सी दवाओं का मूल्य नियंत्रित किया है। ये दवाएं बाजार से 30 से 70 प्रतिशत तक कम मूल्य पर अस्पताल की फार्मेसी में मिलेंगी। जैसे कैंसर की दवा का मूल्य बाजार में दस हजार है तो अस्पताल में तीन से पांच हजार में ही मिल जाएगी। डा. मनीष मंडल ने कहा कि सेंट्रल फार्मेसी सभी जीवनरक्षक दवाओं के अलावा अधिक खपत वाली सभी दवाएं व सर्जिकल सामग्री व उपकरणों की खरीदारी सीधे कंपनी से करेगी। इससे सीएंडएफ, डिस्ट्रीब्यूटर, रिटेलर आदि को मिलने वाला कमीशन रोगियों को नहीं देना पड़ेगा।